
“आपकी ज़िंदगी आपके लिए, आपके परिवार के लिए, परिजनों के लिए, समाज के लिए और प्रदेश के लिए अमूल्य है। अपनी ज़िंदगी बचाएँ। इसे कोरोना वायरस के हाथ नहीं सौंपें। सरकार पूर्ण-रूपेण प्रयास कर रही है कि आप स्वस्थ और सुरक्षित रहें। लेकिन सरकार की प्रयास को आपकी भी मदद की जरुरत है । हम भी आपके हितैषी हैं। आपके शुभचिन्तक हैं। आप स्वस्थ हैं तभी हम हैं, हमारी सरकार है – इसलिए प्लीज आप अपने को बचाएँ, सुरक्षित रहें, संक्रमण से बचें ।” यह सुझाव झारखण्ड के युवा मुख्य मन्त्री हेमन्त सोरेन का है।
संडेकहानी.कॉम से बात करते हुए झारखण्ड मुख्य मंत्री हेमन्त सोरेन के कार्यालय के एक अधिकारी ने बताया कि राज्य के नागरिकों के लाभार्थ, जिससे वे कोरोना वायरस के संक्रमण से दूर रहें, अनेकानेक ऑडियो, वीडियो बनाने के लिए मुख्य मंत्री संकल्पित हैं, ताकि दूर-दराज गावों तक उनकी बात लोगों तक पहुंचे।
यूँ तो कूटना वायरस से सम्पूर्ण देश प्रभावित है परंतु पूर्वोत्तर राज्य अधिक संक्रमित हो रही हैं। ज्ञातब्य हो कि सांसद पी. एन. सिंह के कार्यालय में उनके चार कर्मचारी के अतिरिक्त पूर्व मुख्य मंत्री रघुवर दास के मंत्रिमंडल के नगर विकास मंत्री सी पी सिंह भी इस वायरस से संक्रमित हैं। अभी तक प्रदेश में 500 से अधिक लोग, जिसमें शीर्ष पदों पर पदस्थापित अधिकारी, व्यापारी और आम-आदमी कोरोना वायरस से संक्रमित हैं और सबों का रिपोर्ट पॉजिटिव आया है। जान-कर्ताओं का मानना है कि यदि लोग खुद अपनी – अपनी रक्षा के लिए आगे नहीं आये तो स्थिति भयावह भी हो सकती है।
धनबाद के सामाजिक कार्यकर्ता जितेन्द्र कुमार राय का कहना है कि “झारखंड के अलग-अलग जिले में लगातार दूसरे दिन नोवेल कोरोना वायरस के 500 से अधिक पॉजिटिव मिलने के बाद प्रदेश में कोविड-19 संक्रमितों का आंकड़ा सात हजार को पार कर गया है वहीं दो अन्य संक्रमित की मौत से महामारी के कारण जान गंवाने वालों की संख्या 67 हो गयी है।”
जितेन्द्र कुमार राय आगे कहते हैं: “यह एक ऐसा समय है जब झारखण्ड के लोगों को, समाज-सेवियों को, राजनेताओं को, अधिकारीयों को और जनता को सभी प्रकार की आपसी सामाजिक-धार्मिक-आर्थिक-सांस्कृतिक-राजनीतिक मतभेदों को भुलाकर आवाम की जान-माल को बचाने के लिए समग्ररूप में कार्य करना होगा। अगर लोग रहेंगे स्वस्थ तभी किसी भी भी राजनीति झारखण्ड में चलेगी है, लोगबाग समाजसेवा कर सकते हैं। इसलिए सबों को प्रदेश के मुख्य मंत्री हेमन्त सोरेन का साथ देना चाहिए। राँची के राजेन्द्र आयुर्विज्ञान संस्थान (रिम्स) समेत विभिन्न जिलों के सरकारी एवं निजी जांच केन्द्रों में 6545 स्वाब सैंपल की जांच में 403 लोगों की रिपोर्ट पॉजिटिव मिली है। इससे पूर्व बुधवार को भी प्रदेश में 439 कोरोना संक्रमित मिले थे।
बहरहाल, यदि कोरोना वायरस से संक्रमित नहीं होने के लिए यदि झारखण्ड के लोग – शिक्षित से अनपढ़ों तक, अधिकारियों से कामगारों तक, मालिकों से श्रमिकों तक – सरकार के आदेशों का उलंघन किये, या फिर अपना “जाहिलपन” दिखाए, तो प्रदेश के सभी 24 जिलाओं की आवादी – बच्चे, बूढ़े, जवान, पुरुष, महिला – जानलेवा कोरोना वायरस के चपेट में आ जाएगी। साथ ही, प्रदेश में स्वास्थ सुविधाएँ भी इतनी ‘सुदृढ़’ नहीं हैं कि एक संक्रमित लोगों की एक संख्या के बाद सरकारी, अर्ध-सरकारी अथवा निजी अस्पतालों में उनका उपचार हो सके और जान बचाई जा सके।
झारखण्ड राज्य के सभी 24 जिला – कोडरमा, गढ़वा, गिरिडीह, गुमला, चतरा, जामताड़ा, दुमका, देवघर, गोड्डा, धनबाद, पलामू, पश्चिम सिंहभूम, पूर्वी सिंहभूम, बोकारो, पाकुड़, रांची, लातेहार, लोहरदग्गा, सराईकेला, साहिबगंज, सिमडेगा, हज़ारीबाग, खूंटी और रामगढ – इस जानलेवा वायरस के चपेट में आ गया है।
वैसे सरकारी-स्तर पर इस महामारी जैसे वायरस के संक्रमण पर नियंत्रण के लिए प्रदेश के मुख्य मंत्री हेमंत सोरेन और राज्य के कैबिनेट ने यह अधिसूचना जारी किया है सरकार किसी भी स्तर पर इस कोरोना वायरस पर नियंत्रण करने के लिए कृतसंकल्प है जिससे लोगों की जानमाल नहीं हो। सर्कार ने यह फैसला की है कि जो व्यक्ति मास्क नहीं पहने हुए पाए जायेंगे, या सार्वजानिक स्थानों पर बेवजह एकत्रित पाए जायेंगे या वैसे अन्य सभी नियमें, जो पूर्व में सरकार जारी की है, उलंघन करते पाए जायेंगे तो उन्हें ‘तक्षण’ दो लाख रुपये का दंड और दो साल का कैद की सजा होगी। यह अधिसूचना झारखण्ड कन्टेजिअस डिजीज ऑर्डिनेंस के तहत जारी किया गया है।वैसे आगामी 27 जुलाई तक राज्य विधान सभा सचिवालय “सील्ड” कर दिए गए हैं।
झारखण्ड भारत का 28वाँ राज्य है जिसकी सीमाएँ उत्तर में बिहार, पश्चिम में उत्तर प्रदेश एवं छत्तीसगढ़, दक्षिण में ओड़िशा और पूर्व में पश्चिम बंगाल को छूती हैं। लगभग संपूर्ण प्रदेश छोटानागपुर के पठार पर अवस्थित है। संपूर्ण भारत में वनों के अनुपात में प्रदेश एक अग्रणी राज्य माना जाता है। बिहार के दक्षिणी हिस्से को विभाजित कर झारखंड प्रदेश का सृजन किया गया था। इस प्रदेश के अन्य बड़े शहरों में धनबाद, बोकारो एवं जमशेदपुर शामिल हैं। झारखंड को अलग राज्य का दर्जा बिहार पुनर्गठन बिल के 2002 में पास होने के बाद प्राप्त हुआ। झारखण्ड की आबादी लगभग 32.98 मिलियन है।जो भारत की कुल जनसंख्या का 2.72% हैं। यहाँ का लिंगानुपात 948 स्त्री प्रति 1000 पुरुष है। प्रतिवर्ग किलोमीटर जनसंख्या का घनत्व लगभग 414 है।
एक स्वतंत्र भू-राजनीतिक क्षेत्र के रूप में झारखण्ड की पहचान मगध साम्राज्य की स्थापना से पूर्व की मानी जाती है। ब्रिटिश काल में यह बंगाल रेजीडेंसी का हिस्सा रहा और बाद में बिहार राज्य का हिस्सा बना। ब्रिटिश शासन काल में यहाँ हुआ संथाल विद्रोह एक प्रमुख ऐतिहासिक घटना थी।